नववर्ष पर युवाओं की पहल: नशे से दूर रहने का संदेश, हनुमान मंदिर में होगा एक दिवसीय धार्मिक कार्यक्रम

नववर्ष पर युवाओं की पहल: नशे से दूर रहने का संदेश, हनुमान मंदिर में होगा एक दिवसीय धार्मिक कार्यक्रम
युवा मित्र मंडल की पहल: नववर्ष पर अध्यात्म से जुड़ने का संदेश

नोहर के युवा मित्र मंडल ने नववर्ष के स्वागत को एक नई दिशा देने का प्रयास किया है। पाश्चात्य प्रभाव में आकर नशे और फुहड़ता से भरे गानों पर नाच-गाने की प्रवृत्ति से युवाओं को दूर रखने और भारतीय संस्कृति से जोड़ने के लिए, युवा मित्र मंडल ने प्राचीन जोहड़ वाले हनुमान मंदिर में 31 दिसंबर की शाम को धार्मिक कार्यक्रम आयोजित करने का निर्णय लिया है।
यह आयोजन लगातार तीसरे वर्ष किया जा रहा है। इससे पहले के सफल आयोजनों ने समाज में सकारात्मक संदेश फैलाया है। इस वर्ष कार्यक्रम के उद्देश्यों और आयोजन की रूपरेखा को लेकर मंदिर परिसर में एक पत्रकार वार्ता आयोजित की गई, जिसमें मंडल के सदस्य शुभम भूकरकेवाला और संदीप गाजुवास ने जानकारी साझा की।
कार्यक्रम का उद्देश्य:
शुभम और संदीप ने बताया कि नववर्ष के नाम पर नशे और पश्चिमी संस्कृति के प्रभाव में आकर अपनी संस्कृति और संस्कारों को भूलने वाली प्रवृत्ति को रोकना इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य है। उन्होंने कहा कि नशा न केवल स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचाता है, बल्कि समाज और देश के लिए भी घातक है। नशे के कारण अपराध बढ़ते हैं और परिवारों पर बुरा प्रभाव पड़ता है।
कार्यक्रम का विवरण:
कार्यक्रम में सुंदरकांड पाठ और भजन संध्या जैसे आध्यात्मिक आयोजन होंगे, जिनका उद्देश्य युवाओं को नशे से दूर रखकर अध्यात्म से जोड़ना है। मंडल ने सभी नागरिकों और युवाओं से इस धार्मिक कार्यक्रम में शामिल होने की अपील की है।
संस्कृति और संस्कारों को बढ़ावा:
मंडल के सदस्यों का कहना है कि नई पीढ़ी को भारतीय संस्कृति और मूल्यों से जोड़ने के लिए ऐसे आयोजन बेहद आवश्यक हैं। नववर्ष का स्वागत भक्ति और अध्यात्म के माध्यम से करने से न केवल समाज में सकारात्मक माहौल बनेगा, बल्कि यह युवा पीढ़ी को एक नई दिशा देने का भी काम करेगा।
इस प्रकार के धार्मिक आयोजन न केवल नशामुक्त समाज के निर्माण में मददगार साबित होते हैं, बल्कि युवाओं को उनकी जड़ों से जोड़ने का भी कार्य करते हैं। आयोजकों ने समाज के सभी वर्गों से इसमें भाग लेने और इसे सफल बनाने की अपील की है।